بسم الله الرحمن الرحيم ख़ैरो बरकत की चाबी रसूले करीम (सल्लल्लाहु अलयहि वसल्लम) के ज़माने में एक दफ़ा क़बीलए बनु अशअर का एक प्रतिनिधिमंडल यमन से हिजरत कर के मदीना मुनव्वरा पहुंचा. मदीना मुनव्वरा पहुंचने के बाद उस प्रतिनिधिमंडल का तोशा ख़तम हो गया, तो उन्होंने एक आदमी को नबीए …
और पढ़ो »हज़रत सईद बिन-ज़ैद रद़ियल्लाहु अन्हु का इस्लाम के खातिर तक्लीफें बर्दाश्त करना
خاطب سيدنا سعيد بن زيد رضي الله عنه الناس يوما فقال للقوم: لو رأيتني موثقي عمر (أي: وإن عمر لموثقي) …
कोहे हिरा का खुशी से झूमना
ذات مرة، صعد رسول الله صلى الله عليه وسلم جبل حراء فتحرك (الجبل ورجف)، فقال رسول الله صلى الله عليه …
दुरूद शरीफ़ पढ़ने वाले के लिए नबी सल्लल्लाहु अलयहि वसल्लम की शफ़ाअत
عن أبي هريرة عن النبي صلى الله عليه وسلم قال من قال اللهم صل على محمد وعلى آل محمد كما صليت على إبرا…
हज़रत सईद बिन ज़ैद (रद़ियल्लाहु अन्हु) के लिए जन्नत की खुशखबरी
एक मर्तबा रसूलुल्लाह (सल्लल्लाहु अलैहि व-सल्लम) हज़रत सईद बिन ज़ैद (रद़ियल्लाहु अन्हु) के बारे में इ…
तमाम अहम काम और तमाम फ़िक्र
عن أبي بن كعب رضي الله عنه قال قلت يا رسول الله إني أكثر الصلاة عليك فكم أجعل لك من صلاتي ؟... …
નવા લેખો
इस्लाम को ज़िन्दा करना
अगर मुसलमान अपनी इस्लाह कर लें और दीन उन में रचबस जाये (स्थापित हो जाये) तो दीन तो वह है ही, लेकिन दुन्यवी मसाईब का भी जो कुछ आजकल उस पर हुजूम है, इनशा अल्लाह चंद रोज़ में काया पलट हो जाये...
और पढ़ो »मरज़ुल मौत (मौत की बीमारी)
अगर कोई शख़्स मरज़ुल मौत में हो, मगर किसी और सबब से मर जाये (मिषाल के तौर पर वह आख़री दरजे के केन्सर में मुब्तला हो, मगर वह गाड़ी के हादषे की वजह से मर जाये) तब भी इस बीमारी को “मरज़ुल मौत” कहा जायेगा...
और पढ़ो »फ़र्ज़ नमाज़़ों के बाद दुरूद शरीफ़ पढ़ना
हज़रत अनस (रज़ि.) के दिल में रसूले करीम (सल्लल्लाहु अलयहि वसल्लम) की इतनी ज़्यादा मोहब्बत थी के उन्होंने अपने आप को नबीये करीम (सल्लल्लाहु अलयहि वसल्लम) के बग़ैर इस दुन्या में रेहने के क़ाबिल नहीं समझा...
और पढ़ो »जीवन के हर पहलू में इत्तेबाये सुन्नत की कोशिश करे
मेरे चचा जान (यअनी हज़रत मौलाना मुहमंद इल्यास साहब (रह.)) भी मुझको इत्तेबाए सुन्नत की नसीहत फ़रमाई थी और यह के अपने दोस्तो को भी उस की ताकीद ज़रूर करते रेहना...
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