सुलहा की सूरत इख़्तियार करने में भी फ़ाईदा है

हज़रत शैख़ मौलाना मुहमंद ज़करिय्या (रह.) ने एक मर्तबा फ़रमायाः  

“मेरे दोस्तो ! केहना न चाहिए मगर केह रहा हुं देखो हम सच्चे तो हैं नहीं मगर सच्चों की शक्ल ही बना लें अपने अस्लाफ़ की नक़्क़ाली ही कर लैं अल्लाह तआला नवाज़ देगा, महरूम न रखेगा. देखो फ़िरऔन के ज़माने में हज़रत मूसा (अलै.) के मुक़ाबले में जितने साहिर(जादूगर) आए थे वह मूसा (अलै.) के लिबास में आए थे. अल्लाह तआला ने उन सब को उस मुशाबहत की वजह से नवाज़ दिया.” (मलफ़ूज़ात हज़रत शैख़ (रह.), पेज नं-१०८)

Source: https://ihyaauddeen.co.za/?p=6848


Check Also

ख़ानक़ाही लाइन में राहज़न चीजें

हज़रत मौलाना अशरफ़ अली थानवी रह़िमहुल्लाह ने एक मर्तबा इर्शाद फरमाया: मैं खैर ख्वाही से …