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मौत के बाद तुरंत क्या करना चाहिए ?

जब किसी की रूह निकल जाए, तो उस की आंखें बंद कर दो, सारे अंग ठीक कर दो, हाथों को उस के किनारे कर दो, उंगलियों और जोड़ों को ढीला कर दो, मुंह को इस तरीक़े से बांध दो के एक कपड़ा थोड़ी के नीचे से निकालो और उस के …

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जहां भी हो, दुरूद शरीफ़ पढ़ो

عن الحسن بن علي رضي الله عنهما أن رسول الله صلى الله عليه و سلم قال حيثما كنتم فصلوا علي فإن صلاتكم تبلغني رواه الطبراني في الكبير بإسناد حسن (الترغيب و الترهيب رقم ٢٥٧١)

हज़रत हसन बिन अली (रज़ि.) से रिवायत है के...

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बयतुल ख़ला की सुन्नतें और आदाब- (भाग-७)

غُفْرَانَكَ اَلْحَمْدُ لِلّٰهِ الَّذِيْ أَذْهَبَ عَنِّيْ الْأَذٰى وَعَافَانِيْ[2]

"ए अल्लाह मेरी मग़फ़िरत फ़रमा. तमाम तअरीफ़ें अल्लाह तआला के लिए हैं, जिन्होंने मुझ से तकलिफ़ देनेवाली चीज़ों को दूर किया...

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बयतुल ख़ला की सुन्नतें और आदाब- (भाग-६)

१४) इस बात का ख़ूब ध्यान रखना के पेशाब के छींटे बदन के किसी हीस्से पर न पडे. इस सीलसीले में ग़फ़लत, सख़्त अज़ाबे क़ब्र का बाइस है.[1]

عن أبي هريرة رضي الله عنه قال قال رسول الله صلى الله عليه وسلم أكثر عذاب القبر من البول ...

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बयतुल ख़ला की सुन्नतें और आदाब- (भाग-५)

(१) बयतुलख़ला में न खाना और न पीना. (२) बयतुलख़ला में ज़रूरत से ज़्य़ादा वक्त न गुजारना.[१] अगर बयतुलख़ला चंद लोगों के दरमियान मुशतरक हो या वह बयतुलख़ला सब के लिए हो, तो ज़रूरत से ज़्य़ादा वक़्त सर्फ़ करना, दुसरों के लिए तकलिफ़ का कारन होगा. (३) अकडुं बैठ कर …

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